Type Here to Get Search Results !

*🌈💫आनंद का असली रूप भगवान ही हैं - अंबालिका किशोरी*......*🌈💫कलश यात्रा के साथ नर्मदा अपना अस्पताल में भागवत कथा प्रारंभ*

नर्मदापुरम। आनंद का असली रूप भगवान ही होते हैं। हम आनंद को धन, संपत्ति, वस्तुओं में खोजते हैं, लेकिन वे उनमें नहीं होते। यह बात नर्मदा अपना अस्पताल में मंगलवार से प्रारंभ श्रीमद्भागवत कथा के प्रथम दिवस कथा व्यास अंबालिका किशोरी  ने कही।उन्होंने कहा कि वास्तव में हम भगवान को वहां खोजते हैं, जहां वे होते नहीं और जहां भगवान होते हैं वहां हम उन्हें खोज नहीं पाते। एक कहानी सुनाते हुए उन्होंने कहा कि भक्त और भगवान लुकाछिपी का खेल खेलते हैं तो भगवान भक्त के हृदय में ही छिप जाते हैं। अब भक्त उन्हें पूरी पृथ्वी पर खोजता है, लेकिन अपने ही हृदय में नहीं झांकता। हमारी स्थिति ऐसी ही है। भगवान तो घट घट में निवास करते हैं। उन्हें बाहर नहीं भीतर खोजा जाना चाहिए। भक्त जब अंतर की यात्रा करता है तो भगवान तत्काल मिल जाते हैं। उन्होंने प्रथम दिवस भागवत कथा का महात्म्य बताया। सुकदेव के जन्म की कथा सुनाई। साथ ही आत्मदेव ब्राह्मण और धुंधकारी वी गोकर्ण के जन्म की कथा भी सुनाई। इसके पहले कथा केलिए रसूलिया स्थित इच्छा पूर्ति मंदिर से कथा स्थल तक विशाल कलश यात्रा निकाली गई। कलश यात्रा में बड़ी संख्या में श्रद्धालु महिलाएं सिर पर कलश रखकर मंगल गान करते हुए शामिल हुई। व्यास पूजन के बाद कथा का आरंभ हुआ। कथा में भजन जो करते रहोगे भजन धीरे धीरे, तो मिल जाएगा वो सजन धीरे धीरे, पर भक्त झूम कर नाचे। कथा के पहले करीब एक घंटे तक राम धुन हुई। कथा प्रतिदिन दोपहर एक बजे से शाम चार बजे तक होगी।

Post a Comment

0 Comments
* Please Don't Spam Here. All the Comments are Reviewed by Admin.